हिन्दू धर्म में भगवान श्री राम के अनन्य भक्त हनुमान जी को चिरंजीवी का वरदान प्राप्त है. ऐसा कहा जाता है कि वे आज भी संसार में किसी ना किसी रूप में हैं और अपने भक्तों के कष्टों को हरने के लिए वे जरूर आते हैं. उनकी पूजा के लिए कई नियम हैं, जिनमें कुछ मंत्रजाप भी शामिल हैं. इनमें भी बजरंब बाण का काफी महत्व बताया गया है. ऐसा कहा जाता है कि, यदि आप किसी संकट या विपत्ति में हैं और इस मंत्र का जाप करते हैं तो हनुमान जी अवश्य ही सहायता के लिए आते हैं. लेकिन, बजरंग बाण को पढ़ने के लिए भी कुछ नियम बताए गए हैं.
रोज नहीं करना चाहिए बजरंग बाण का पाठ
बजरंग बाण के पाठ से शक्तिशाली ऊर्जा मिलती है इसलिए इसे संकट के समय या किसी विपत्ति के समय ही पढ़ा जाता है. लेकिन आप इसे अकारण यानी कि रोजाना पढ़ते हैं तो आपको इसके कुछ विपरीत परिणाम भी मिल सकते हैं. दरअसल, बजरंग बाण में एक उग्र ऊर्जा होती है और जब आप इसका पाठ रोजाना करते हैं तो इससे मिलने वाली इस ऊर्जा को आप सहन नहीं कर सकते. जिससे आप मानसिक अशांति के साथ ही कई अन्य नुकसान में भी फंस सकते हैं.
कब करें बजरंग बाण का पाठ?
जब आप किसी विपत्ति में हों या किसी बड़े संकट से घिर गए हों तो ऐसी स्थिति में आपको बजरंग बाण का पाठ करना चाहिए. इसका पाठ करने से आपको हनुमान जी का आशीर्वाद मिलता है. आप जब शत्रुओं से घिरे होते हैं और बजरंग बाण का पाठ करते हैं तो हनुमान जी आपकी सहायता करते हैं. लेकिन जब इसका पाठ आप अकारण ही करते हैं तो आपसे हनुमान जी नाराज हो सकते हैं, इसलिए ऐसा करने से बचें.
किस समय करें पाठ?
आप यह जान चुके हैं कि बजरंग बाण का पाठ रोजाना या अकारण नहीं करना चाहिए. लेकिन यह जानना भी जरूरी है कि बजरंग बाण के पाठ के लिए उचित समय क्या है? यहां हम आपको बता दें कि, हनुमान जी की पूजा के लिए सबसे उत्तम दिन मंगलवार का माना गया है. इसी प्रकार मंगलवार के दिन बजरंग बाण का पाठ करना आपके लिए सबसे ज्यादा शुभ होगा.